Thursday, July 2, 2015

केंद्र सरकार ने पांच कश्‍मीरी अखबारों का विज्ञापन बंद करने का निर्देश दिया

केंद्र सरकार ने पांच कश्‍मीरी अखबारों का विज्ञापन बंद करने का निर्देश दिया

Friday, 21 October 2011 10:01 B4M भड़ास4मीडिया 

भारतीय कश्मीर के कुछ अख़बारों में कथित भारत विरोधी प्रचार को देखते हुए केंद्र सरकार ने उन अख़बारों को सरकारी विज्ञापन देना बंद करने का दिशानिर्देश जारी किया है. केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से सभी केंद्रीय मंत्रालयों और सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों को ये दिशानिर्देश जारी किया है, जिसके तहत पाँच अख़बारों को वित्तीय मदद और विज्ञापन नहीं दिया जाएगा.

कश्मीर टाइम्स के अलावा, अँगरेज़ी दैनिक ग्रेटर कश्मीर और राइज़िंग कश्मीर और उर्दू अख़बार बुलंद कश्मीर और एत्तलात पर ये प्रतिबंध लगाया जा रहा है. वैसे स्थानीय मीडिया संस्थानों को वर्षों से सरकारी प्रतिबंधों का सामना करना पड़ा है. पिछले तीन वर्षों से स्थानीय टेलीविज़न चैनलों पर समाचारों का प्रसारण प्रतिबंधित है जबकि मोबाइल फ़ोन पर एसएमएस भी सीमित रखे गए हैं. मगर ये पहला मौक़ा है जबकि अख़बारों को विज्ञापन देने से सरकार इनकार कर रही है.

वैसे सरकारी प्रवक्ता फ़ारुख़ रिंज़ू ने बीबीसी को बताया कि उन्हें दिल्ली से अभी तक इस बारे में आधिकारिक रूप से कोई जानकारी नहीं मिली है. मगर वरिष्ठ पत्रकार परवेज़ बुख़ारी ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाया है कि वह कश्मीर में प्रेस को ख़ामोश करने के लिए आर्थिक नाकाबंदी कर रही है. बुख़ारी के अनुसार, "ये बड़ा घटनाक्रम इस लिहाज़ से है कि कश्मीर से बाहर के पत्रकारों और संपादकों को भी पता चलेगा कि कश्मीरी मीडिया पर किस तरह का प्रतिबंध लगाया जा रहा है."

उनका कहना था कि कश्मीर घाटी में जब भी हालात बिगड़ते हैं या प्रेस में गंभीर मुद्दे उठाए जाते हैं तो उनके सुर इसी तरह बदले जाते हैं. सरकारी आदेश में कहा गया है कि अगर इन अख़बारों के सुर बदले तो इस फ़ैसले पर पुनर्विचार हो सकता है. स्थानीय पत्रकारों ने पिछले कुछ वर्षों में ऐसी पाबंदियों के ख़िलाफ़ विरोध प्रदर्शन भी किया है. साभार : बीबीसी

आम्रपाली शर्मा ने मुंबई मिरर ज्‍वाइन किया

सिनेमा और इंटरटेनमेंट से जुड़ी पत्रकार आम्रपाली शर्मा ने फिर टाइम्‍स ऑफ इंडिया ग...

केंद्र सरकार ने पांच कश्‍मीरी अखबारों का विज्ञापन बंद करने का निर्देश दिया

भारतीय कश्मीर के कुछ अख़बारों में कथित भारत विरोधी प्रचार को देखते हुए केंद्र सर...

विज्ञापन कम, एमपी के रीजनल चैनलों का निकल रहा दम

मध्य प्रदेश में स्थानीय समाचार चैनल तो हैं, लेकिन बेहाल हैं। दरअसल स्थानीय ...

एक शार्टफिल्म : सुसाइड करने का नया तरीका- मीडिया ज्वाइन कर लो

सुसाइड.... एक शॉर्ट फिल्म है, जिसे हम मीडियाकर्मियों ने मीडिया में अपने अनु...

गरीबी, बेरोजगारी, स्‍वास्‍थ्‍य जैसी वास्‍तविक खबरें मीडिया से गायब हैं : काटजू

प्रेस काउंसिल ऑफ इंडिया के नवनियुक्‍त चेयरमैन जस्टिस एम काटजू बीते दस अक्‍ट...

Keep media out of lokpal purview, says Editors Guild

The Editors Guild of India on Friday favoured keeping the media out of the ...

लोकमत समाचार का उत्कृष्ट साहित्य वार्षिकी 'दीप भव', लोकार्पण 22 को दिल्ली में

महाराष्ट्र के प्रतिष्ठित समाचार पत्र समूह लोकमत मीडिया लिमिेटेड के हिंदी दैनिक ल...

कथाकार स्वयं प्रकाश को कथाक्रम सम्मान की घोषणा

 कथाकार स्वयं प्रकाश को कथाक्रम सम्मान की घोषणा

लखनऊ : वरिष्ठ कथाकार स्वयं प्रकाश को वर्ष 2011 के प्रतिष्ठित 'आनंद सागर कथाक्रम ...

थानाध्‍यक्ष ने ग्रामीणों पर चढ़ाई जीप, भड़के लोग, फूंका थाना, बिगड़ा माहौल, फायरिंग, पांच घायल

वैसे भी जिस बंदे के बदन पर खाकी होती है, उसके हाव-भाव-ताव सब अलग होते हैं. जनता ...

भोगवादी जीवन से उबे आदमी की आवारगी (भाग छह)

भोगवादी जीवन से उबे आदमी की आवारगी (भाग छह)

'मुझे प्यार, पैसा या नाम मत दो, अगर कुछ दे सकते हो तो सत्य दो। (मैकेंडलेस के पास...

डाक्‍टरों की लापरवाही से पत्रकार के मासूम पुत्र की मौत

भगवान माने जाने डाक्‍टरों की लापरवाही ने एक मासूम की जान ले ली. टीवी टुड़े ...

अखंड हिमाचल को अब नहीं छाप रहा दैनिक भास्‍कर

हिमाचल प्रदेश के सुंदरनगर से छपने वाले अखबार अखंड हिमाचल, जो चंडीगढ़ में दै...

भड़ासी चुटकुला (25)

अलग अलग लड़कों की गर्ल फ्रेंड अपने बॉय फ्रेंड से इस प्रकार लड़ रही थीं:-

इतनी माइलेज तो बाइक भी नहीं देती, हम तो इंसान हैं

राष्ट्रीय सहारा न्यूज ब्यूरो में किया जा रहा है कर्मचारियों का शोषण : रूहेल...

जो बाजार के आलोचक हैं, उन्हें कोई संपादक नहीं बनाना चाहता

जो बाजार के आलोचक हैं, उन्हें कोई संपादक नहीं बनाना चाहता

: इंटरव्यू : कवि और पत्रकार विमल कुमार : एसपी ने कम विवेकवान और भक्त शिष्यों की फौज खड़ी की, जिनमें से कई आज चैनल हेड हैं : मैं तब यह नहीं जानता था कि मीडिया का इतना पतन हो जाएगा और...

No comments:

Post a Comment